‘’ आप भोजपुरी में ब्रेक नहीं देते तो शायद मैं और मेरी पहचान अधूरी रह जाती ’’- रवि किशन
लेखक- मनोज भावुक
निर्माता-निर्देशक मोहन जी प्रसाद ना रहनी। 17 नवम्बर दोपहर 2 बजे मुंबई में उहाँ के निधन हो गइल। मोहन जी के भोजपुरी सिनेमा के तीसरा चरण भा मॉडर्न युग के जन्मदाता भी कहल जाला। अभिनेता रवि किशन के भोजपुरी में उहें के लॉन्च कइनी। रवि जी के पहिला, दूसरा, तीसरा आ चौथा लगातार चार गो फ़िल्म के निर्माता-निर्देशक उहें के रहनी।
उहाँ के निधन के बाद सांसद-अभिनेता रवि किशन अपना फेसबुक पेज पर शोक सन्देश लिखलें कि ‘’ श्री मोहन जी प्रसाद जी ने ब्रेक दिया था. फिर लगातार blockbuster फ़िल्म साथ की। मोहन जी आज दोपहर 2 बजे हम सबका साथ त्याग दिए। मोहन जी बहुत कुछ सिखा आपसे। आप भोजपुरी में ब्रेक नहीं देते तो शायद मैं और मेरी पहचान अधूरी रह जाती। धन्यवाद आपको। महादेव आपको अपने चरणो मैं स्थान दे। ओम् शांति शांति ‘’
रवि किशन जी तुरंत एगो अउर पोस्ट कइले- ‘’ आज भोजपुरी इंडस्ट्री के जनक का देहांत हो गया। मोहन जी आपके वजह से तीसरे दसक में सबको रोज़ी रोटी मिली। भोजपुरी इंडस्ट्री का काला दिन आज आपका जाना. ॐ शान्ति शान्ति ‘’
मोहन जी हिंदी में भी कई गो पारिवारिक फिल्म देले बानी। एगो लेखक-निर्देशक आ निर्माता के रुप में ‘औरत तेरी यही कहानी’, नाचे नागिन गली-गली,‘घर परिवार’ ( राजेश खन्ना, ऋषि कपूर, मौसमी, मीनाक्षी आदि स्टारकास्ट रहे), ‘दोस्ती के सौगन्ध’, फूलवती, दिवाना हूँ पागल नहीं, आ ‘मेघा’ (करिश्मा कपूर, राहुल रॉय, शम्मी कपूर स्टारकास्ट रहे ) आदि प्रमुख फिल्म बा। मोहन जी निर्मित निर्देशित लिखित बंगला फिल्म ‘विधातार खेला’ आ ‘माधुरी’ भी उल्लेखनीय बा।
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