संस्मरण अंक लाजवाब आ संग्रहणीय बाटे संस्मरण अंक के सरसरी निगाह से तs हम ओहि दिन देख लिहलीं जवना दिने ऊ हमरा…
विविध
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भोजपुरी जंक्शन के हरेक अंक संग्रहणीय आ संदर्भ सामग्री बा भोजपुरी जंक्शन के जेतना भी अंक अब तक आइल बा, भोजपुरी भासा…
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गजब के अंक बा जी ! कमहीं में ढेर, तनिके में भरपूर गजब के अंक बा जी ! कमहीं में ढेर। तनिके…
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गजब के अंक भइल बा इहो.. नजरे नजर में सउँसे पत्रिका हहुआत देख गइनीं। ‘भारतीय स्वाभिमान के प्रतीक से भी कष्ट’ सभके…
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संपादकन खातिर मिसाल पेश कइले बानीं सचहूं एगो यादगार अंक निकालिके रउआ भोजपुरी पत्रिकन के संपादकन खातिर मिसाल पेश कइले बानीं। अबहीं…
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आचार्य महेन्द्र शास्त्री संपादित पहिलका भोजपुरी पत्रिका ‘भोजपुरी‘ के याद दियावत बा ई अंक भावुक जी, कोरोना के त्रासद काल में…
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भोजपुरी जंक्शन पत्रिका साहित्य नभ के ऊंचाई के छू रहल बा सम्पादक महोदय, भोजपुरी जंक्शन के देखलीं आ पढ़लीं बहुते प्रसन्नता भइल।…
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धर्मयुग, साप्तिहिक-हिंदुस्तान, कादंबिनी पत्रिका के समतुल्य है ‘भोजपुरी जंक्शन‘ आपके कुशल एवम सफल संपादन में ‘भोजपुरी जंक्शन’ ई पत्रिका के संपूर्ण…
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समै के शब्द-चित्र खींच रहल बा कोरोना विशेषांक कर्मणैव हि संसिद्धिमास्थिता जनकादयः। लोकसङ्ग्रहमेवापि सम्पश्यन्कर्तुमर्हसि॥ कर्म के महत्ता बतावत एह श्लोक के अंतर्निहित…
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अइसन पत्रिका त बुक स्टालो प रहे के चाही ‘हम भोजपुरिया’ पत्रिका पढ़ि के मन मुद्रित हो गइल आ हम भावुक हो…